daily darsan archana baba
“ॐ…”
एक ऐसा शब्द, जो नहीं बोलता, फिर भी सब कुछ कह जाता है।एक ऐसा नाद, जो सुनाई देता है… मगर सिर्फ बाहर नहीं, भीतर भी।
🙏
जय श्री सदगुरुदेव अर्चना बाबा की जय।
आप देख रहे हैं — "Daily Darshan Archana Baba" —
जहाँ हर दिन होता है दिव्यता का साक्षात्कार।
आज हम जानने जा रहे हैं —
ॐ महामंत्र का वो दिव्य रहस्य,
जो हमारे जीवन को शांत, शक्तिशाली और सच्चे अर्थों में आध्यात्मिक बना देता है।
वैदिक ऋषियों ने हजारों वर्षों पूर्व जो खोज की — वह आज भी उतनी ही प्रासंगिक है।
"ॐ" — यह कोई मनगढ़ंत ध्वनि नहीं, बल्कि संपूर्ण ब्रह्मांड का मूल नाद है।
"अ", "उ", "म" — तीन ध्वनियाँ मिलकर बनती हैं — एक पूर्ण नाद।
"अ" — सृष्टि का आरंभ।
"उ" — उसका विस्तार और पालन।
"म" — उसका विलय, समापन, शांति।
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यही कारण है कि ब्रह्मा, विष्णु और महेश — त्रिदेवों की शक्ति समाहित है "ॐ" में।
माण्डूक्य उपनिषद कहता है —
“ॐ इत्येतदक्षरमिदं सर्वं” —
अर्थात् यह सम्पूर्ण ब्रह्मांड “ॐ” है।-
ब्रह्म का मूलरूप — अनाहत नाद है।
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"ॐ" ब्रह्म का श्रव्य रूप है — जिसे सुना जा सकता है।
नासा ने ‘ॐ’ के उच्चारण से उत्पन्न होने वाली ध्वनि तरंगों को ब्रह्मांडीय कंपन से मेल खाते हुए पाया है।
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जब कोई साधक “ॐ” का सही उच्चारण करता है तो:
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मस्तिष्क में Alpha waves उत्पन्न होते हैं।
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तनाव घटता है।
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रक्तचाप नियंत्रित होता है।
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अंतःकरण में स्थिरता आती है।
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वैज्ञानिक मानते हैं — यह कंपन सीधे Earth’s Resonance यानी शूमन रेज़ोनेंस से मेल खाता है।
जब हम ‘ॐ’ का जाप करते हैं, तो हम अपने भीतर के ब्रह्म स्वरूप से जुड़ने लगते हैं।
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संतों की वाणी:
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“जहाँ ॐ का नाद, वहाँ मन का विश्राम।”
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“ॐ से शांत होता है चित्त और जागृत होती है आत्मा।”
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योग, ध्यान, और मंत्र साधना का मूल — "ॐ" है।
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योगशास्त्र में कहा गया है —
“प्रणवः स्वरूपं ब्रह्म” — अर्थात् ॐ ही ब्रह्म का प्रतीक है।
ॐ नादयोग का प्रवेशद्वार है।
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इसका नाद पाँच स्तरों में प्रवाहित होता है:
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वैकरी – वाणी में उच्चारित
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मध्यमा – मन के भीतर
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पश्यन्ती – दृष्टि के स्तर पर
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परा – चेतना के स्तर पर
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शून्य – जहाँ नाद मौन हो जाता है
इसी ‘शून्य’ में प्रवेश करने के लिए साधक वर्षों तक ॐ की साधना करते हैं।
समय: प्रातः ब्रह्ममुहूर्त, या संध्या का समय श्रेष्ठ है।
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स्थान: शांत और स्वच्छ वातावरण।
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विधि: आँखें बंद, रीढ़ सीधी। लंबी श्वास लेकर “ॐ” का उच्चारण।
🎙️
अ - उ - म
धीरे-धीरे, गहराई से, श्रद्धा और स्थिरता के साथ।-
न्यूनतम 108 बार जाप करें।
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15 मिनट प्रतिदिन पर्याप्त है।
लाभ:
मानसिक शांति
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आत्मविश्वास में वृद्धि
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चक्र जागरण
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आध्यात्मिक उन्नति
Archana Baba ने अनेक वर्षों तक मौन साधना के दौरान "ॐ" के कंपन को आत्मसात किया है।
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बाबा कहती हैं —
“ॐ का नाद मात्र शब्द नहीं, वह स्वयं ब्रह्म का कंपन है। जब मनुष्य उसमें विलीन होता है, तब वह परमात्मा से एक हो जाता है।”
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Daily Darshan में जो शांति आप अनुभव करते हैं — वह ॐ के उसी दिव्य नाद की कृपा है।
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बाबा के सान्निध्य में ॐ का जाप करने से —
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साधना तीव्र होती है
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चित्त निर्मल होता है
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और आत्मा परमशांति का अनुभव करती है।
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🎙️
प्रिय भक्तों, आज आपने जाना कि कैसे एक साधारण-सा लगने वाला "ॐ" शब्द, वास्तव में हमारे जीवन का मूल मंत्र है।📿
आईये, आज संकल्प लें कि हम प्रतिदिन 15 मिनट “ॐ” का जाप करेंगे —
Sadgurudev Archana Baba के चरणों में बैठकर, स्वयं को ब्रह्म से जोड़ने के लिए।🙏
ॐ शांति शांति शांति:🎥
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आप देख रहे थे —
Daily Darshan Archana Baba
जहाँ हर दिन मिलता है दिव्य अनुभव।जय श्री सदगुरुदेव अर्चना बाबा की जय।
हर हर महादेव।Tittle : ॐ महामंत्र का रहस्य 🔱 कैसे बदलता है जीवन? | Daily Darshan Archana Baba | Om Mahamantra Explained in Hindi
🟨 YouTube Video Description (विवरण)
🙏 जय श्री सदगुरुदेव अर्चना बाबा की जय।
क्या आपने कभी सोचा है कि "ॐ" सिर्फ एक ध्वनि नहीं, बल्कि ब्रह्मांड की आत्मा है?
इस वीडियो में हम विस्तार से समझेंगे:🔸 ॐ महामंत्र की उत्पत्ति
🔸 इसका वैज्ञानिक और आध्यात्मिक रहस्य
🔸 ध्यान, योग और साधना में ॐ का महत्व
🔸 Sadgurudev Archana Baba की ॐ साधना और उनका दिव्य संदेश🎧 यह वीडियो आपको शांति, ऊर्जा और आत्म-ज्ञान से भर देगा।
📿 15 मिनट प्रतिदिन ॐ का जाप — और आपका जीवन बदल जाएगा।
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